विरोध प्रेम विवाह का नहीं, लव जिहाद का विरोध है : पं. प्रदीप मिश्रा

रायपुर : छत्तीसगढ़ में कथावाचक प्रदीप मिश्रा की कथा चल रही है. जहां बड़ी संख्या में लोगों की भीड़ उमड़ रही है. वहीं अब कथावाचक प्रदीप मिश्रा ने एक बड़ा बयान दिया है. उन्होंने राजनीति में धर्म के उपयोग पर अपनी प्रतिक्रिया दी है.

कथावाचक प्रदीप मिश्रा ने राजनिति में धर्म के उपयोग पर कहा कि धर्म में राजनिति और राजिनित धर्म से चलता आया है. सत्ता के सिंहासन में किसको देखने के सवाल पर उन्होंने कहा कि युवाओं को रोजगार, धर्म को आगे बढ़ाने वालों को मिलना चाहिए.

सनातनियों को ज्यादा बच्चे पैदा करने चाहिए के बयान पर प्रदीप मिश्रा ने कहा कि मैंने कहा था कि चार बच्चे पैदा करना चाहिए. दो अपने लिए और दो राष्ट्र के लिए. जब तक कानून नहीं आता तब तक ज्यादा बच्चे पैदा करें. कथावाचक पं. प्रदीप मिश्रा शनिवार को पत्रकारों से रू-ब-रू हुए. इस दौरान चर्चा में उन्होंने लड़के-लड़कियों से माता-पिता के कहे अनुरूप विवाह करने की बात कही. उन्होंने कहा कि प्रेम विवाह का विरोध नहीं, लव जिहाद का विरोध है. विवाह करें मना नहीं है, लेकिन लड़का-लड़की के अनुकूल होना चाहिए,

प्रदीप मिश्रा ने धर्मांतरण को लेकर कहा कि जो जहां है, अपने धर्म में रहो, अपने धर्म का पालन करो. छोटे-छोटे लोग ऐसे मिल जाते हैं, जो अपने धर्म में ले जाते हैं, और अपने धर्म में मिला लेते हैं. इसमें गलती अपनी ही रहती है. लोग कहते है कि हम घर वापसी करा रहे हैं. हम कहते हैं, कि गए ही क्यों थे. प्रयास ये करे इनको अपने धर्म में ही रखें. अगर संविधान के हिसाब से चलता है, धर्मांतरण रूक सकता है.

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